रांची। झारखंड सरकार की नई नियोजन नीति (रिक्रूटमेंट पॉलिसी) के खिलाफ आज दोपहर कांके रोड स्थित सीएम हाउस का घेराव करने जा रहे छात्रों को रोकने के लिए पुलिस ने बल प्रयोग किया। इस टकराव में आधा दर्जन से ज्यादा छात्र घायल हुए हैं। प्रदर्शनकारी छात्रों के नेता मनोज यादव सहित दो दर्जन छात्रों को पुलिस ने हिरासत में लिया है। छात्र अपनी मांग को लेकर पहले मोरहाबादी में इकट्ठा हुए।
आंदोलन के ऐलान को देखते हुए रांची में एक हजार से ज्यादा पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया था। लेकिन लगभग चार सौ छात्र पुलिस को चकमा देते हुए कांके रोड पहुंचे और धरने पर बैठ गये। छात्रों के धरने पर बैठने के बाद कांके रोड जाम हो गया। इससे कुछ देर के लिए आवागमन बाधित हो गया।
इसके बाद पुलिस ने धारा 144 का उल्लंघन करने के आरोप में जब दो दर्जन छात्रों को हिरासत में लिया तो छात्र उत्तेजित हो गये। इस बीच छात्रों के एक समूह ने दूसरे रास्ते से होकर सीएम हाउस तक पहुंचने की कोशिश की, तो पुलिस को बल प्रयोग करना पड़ा। इससे कई छात्रों को चोट आई। दो छात्रों के सिर फूट गये।
प्रदर्शनकारी छात्रों का कहना है कि सरकार ने जो नई नियोजन नीति लाई है उसमें प्रदेश की नौकरियों में नियुक्ति के लिए 60-40 का अनुपात लागू किया गया है। यानी 40 प्रतिशत पदों पर झारखंड के बाहर के राज्यों के अभ्यर्थियों का कब्जा हो जाएगा।
छात्र तृतीय और चतुर्थ वर्ग की नौकरियां इस प्रदेश के मूल निवासी युवाओं के लिए आरक्षित करने की मांग कर रहे हैं। छात्रों के संगठनों ने इस मुद्दे पर बीते दिनों राज्य के मंत्रियों से मुलाकात कर नियोजन नीति वापस लेने की मांग की थी। बीते 23 मार्च को भी छात्रों ने इस मुद्दे पर झारखंड विधानसभा को भी घेराव करने की कोशिश की थी। उस दौरान भी पुलिस के साथ टकराव हुआ था।
छात्रों ने कहा है कि उनका आंदोलन मांग पूरी होने तक थमेगा नहीं। इसे लेकर 18 अप्रैल को झारखंड के सभी प्रखंडों और जिला मुख्यालयों में मशाल जुलूस निकालने और 19 अप्रैल को झारखंड बंद का आह्वान किया गया है। अकस्मिक सेवाओं को बंद से मुक्त रखने का ऐलान किया गया है।