मुजफ्फरनगर। भारतीय जनता पार्टी में टिकट की घोषणा से पहले ही पार्टी में बगावत के स्वर नजर आने लगे हैं। नगर पालिका मुजफ्फरनगर के अध्यक्ष पद के बीजेपी टिकट के एक प्रमुख दावेदार ने गत दिवस अपनी पत्नी के नाम से नामांकन पत्र खरीद लिया था, आज चार और बीजेपी नेताओं ने अपनी पत्नी के नाम से नामांकन पत्र खरीद लिया है, जिसको लेकर राजनीतिक क्षेत्रों में चर्चाएं गरम हैं।
भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता और टिकट के मुख्य दावेदारों में शामिल कुश पुरी ने कल अपनी पत्नी अंशु पुरी के नाम से नामांकन पत्र खरीद लिया था, उनके साथ भारतीय जनता पार्टी के एक और बड़े नेता सुखदर्शन सिंह बेदी, पूर्व सभासद विपुल भटनागर और अमित गर्ग जैसे प्रमुख बीजेपी समर्थक साथ थे। माना जा रहा है कि भारतीय जनता पार्टी का टिकट न मिलने की स्थिति में कुश पुरी किसी अन्य प्रमुख दल से अपनी पत्नी को चुनाव लड़ा सकते हैं, हालांकि कुश पुरी ने पत्रकारों के इस सवाल को हंसकर टाल दिया था।
आज चार और भाजपा नेताओं ने अपनी पत्नियों के नाम से नामांकन पत्र ख़रीदे है। सरवट के ग्राम प्रधान रहे और जिला पंचायत सदस्य श्रीभगवान शर्मा ने आज अपनी पत्नी उषा शर्मा के नाम से नामांकन पत्र खरीदा है। श्रीभगवान शर्मा ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि भारतीय जनता पार्टी द्वारा ब्राह्मण समाज पर अपना विश्वास जताया जाएगा। श्रीभगवान शर्मा ने कहा कि उन्हें विश्वास है कि उनकी पत्नी श्रीमती उषा शर्मा को ही भारतीय जनता पार्टी अपना प्रत्याशी बनाएगी। उनकी पत्नी भारतीय जनता पार्टी की प्रत्याशी बनकर चुनाव जीतकर मुजफ्फरनगर सीट भाजपा की झोली में डालेगी।
भरोसेमंद सूत्रों के मुताबिक अब भारतीय जनता पार्टी में श्री भगवान शर्मा की पत्नी को टिकट मिलने की कोई संभावना नहीं है, इसलिए श्रीभगवान ने विपक्षी खेमे से अपने संपर्क साध लिए हैं और रॉयल बुलेटिन ने आज सुबह ही प्रकाशित किया था कि कुछ ब्राह्मण चेहरे बसपा के भी संपर्क में है और श्रीभगवान बसपा के पूर्व में नेता भी रहे हैं, ऐसी स्थिति में श्रीभगवान शर्मा बसपा से चुनाव लड़ते भी नजर आ सकते हैं। श्री भगवान शर्मा के अलावा भाजपा जिलाध्यक्ष विजय शुक्ला, श्रीमती रेणु गर्ग, संजय गर्ग, सुनील सिंघल ने भी पर्चे खरीदे हैं , इनमे ज़्यादातर टिकट की लाइन में है लेकिन टिकट न मिलने पर इनमे कोई बगावत पर भी उतरेगा या नामांकन ही नहीं करेगा इसका पता 17 को ही चलेगा।