ढाका। बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की पार्टी ने रविवार सुबह खुलना शहर में एक अप्रत्याशित जुलूस निकाला। अवामी लीग के समर्थक ऐसे समय में सड़क पर उतरे जब अंतरिम सरकार ने ऐसे प्रदर्शनों पर रोक लगाने के सख्त आदेश दिए थे। यह विरोध प्रदर्शन खुलना जिला इकाई के बैनर तले आयोजित किया गया। सरकार गिरने के बाद से इस क्षेत्र में अवामी लीग का यह पहला बड़ा प्रदर्शन था।
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स्थानीय मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, प्रदर्शनकारियों ने जिस बैनर को थामा था, उसमें बांग्लादेश के संस्थापक शेख मुजीबुर रहमान और शेख हसीना की तस्वीरें प्रमुखता से प्रदर्शित थीं। प्रदर्शनकारियों ने ‘शेख हसीना, हम डरते नहीं’, ‘शेख हसीना की सरकार, बार-बार जरूरी है’ और ‘शेख हसीना हीरो की तरह लौटेंगी’ जैसे नारे लगाए। प्रदर्शन से एक दिन पहले ही अंतरिम सरकार के गृह सलाहकार जाहंगीर आलम चौधरी ने सुरक्षा बलों को चेतावनी दी थी कि यदि वे ऐसे अवामी लीग प्रदर्शनों को रोकने में नाकाम रहते हैं, तो उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी।
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चौधरी ने कहा, “पुलिस अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए गए हैं कि यदि वे इन प्रदर्शनों को नियंत्रित करने में असफल रहते हैं, तो उन्हें नतीजे भुगतने होंगे।” खुलना मेट्रोपॉलिटन पुलिस के ओरिंटोना थाना प्रभारी खैरुल बशार ने बताया कि अवामी लीग के कार्यकर्ता एक वाहन से अचानक उतरे, झटपट जुलूस निकाला और मौके से भाग गए। उन्होंने कहा, “यह घटना सुबह के समय हुई जब सड़कों पर ज्यादा भीड़ नहीं थी। हम सीसीटीवी फुटेज और अन्य माध्यमों से प्रदर्शनकारियों की पहचान कर रहे हैं और जल्द ही उन्हें हिरासत में लिया जाएगा।”
इस बीच, बांग्लादेश ने इंटरपोल से पूर्व प्रधानमंत्री हसीना और 11 अन्य के खिलाफ मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली अंतरिम सरकार को उखाड़ फेंकने की साजिश के मामले में रेड नोटिस जारी करने का अनुरोध किया है। बांग्लादेश के प्रमुख दैनिक ‘द ढाका ट्रिब्यून’ ने सहायक महानिरीक्षक (मीडिया) इनामुल हक सागर के हवाले से इस घटनाक्रम की पुष्टि की। उन्होंने कहा कि “यह अनुरोध जांच या चल रही अदालती कार्यवाही के दौरान सामने आए आरोपों के आधार पर किया गया है।”
उन्होंने बताया कि “विदेश में रह रहे भगोड़े आरोपियों की लोकेशन ट्रैक करने में इंटरपोल अहम भूमिका निभाता है। जैसे ही किसी की लोकेशन की पुष्टि होती है, इंटरपोल को सूचित किया जाता है।” शेख हसीना पर बांग्लादेश में नरसंहार से लेकर भ्रष्टाचार तक के 100 से अधिक मामले दर्ज हैं। वह पिछले साल 5 अगस्त भागकर भारत आ गई थीं। उस समय देश में छात्रों द्वारा शुरू किए गए व्यापक विरोध प्रदर्शनों के चलते उनकी 16 साल पुरानी सत्ता गिर गई थी। अधिकांश पूर्व मंत्री और वरिष्ठ अवामी लीग नेता या तो गिरफ्तार हो चुके हैं या फिर देश छोड़कर भाग गए हैं। उन पर मानवता के खिलाफ अपराधों सहित गंभीर आरोप लगे हैं। रिपोर्ट्स के मुताबिक, शेख हसीना ऑनलाइन माध्यमों से पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं से संपर्क बनाए हुए हैं।