शामली। श्रीनगर के स्वर्ण कोट में शहीद हुए रूपेंद्र तोमर का पार्थिव शरीर रविवार की सुबह कस्बे के राष्ट्रीय शिक्षा सदन इंटर कालेज के मैदान में पहुंचा। जहां पर शहीद को श्रद्धांजलि देने के लिए अंतिम यात्रा निकाली गई।
जिसमें क्षेत्र के हजारों की संख्या में लोग मौजूद रहे। वहीं जनपद का सरकारी अमला एवं नेताओं ने भी नम आंखों से शहीद को अंतिम विदाई दी। अंतिम विदाई यात्रा कस्बे से होते हुए शहीद के पैतृक गांव बीबीपुर जलालाबाद पहुंची।
शव यात्रा में डीजे पर देशभक्ति गीत ओर जब तक सूरज चांद रहेगा रुपेन्द्र तोमर तेरा नाम रहेगा के नारे गूंजते रहे। शहीद को सैन्य सम्मान एवं गार्ड ऑफ ऑनर के साथ सलामी देते हुए अंतिम विदाई दी। शहीद को मुखाग्नि उसके 13 वर्षीय नाबालिग पुत्र हिमांशु ने दी। इस दौरान सभी की आंखें नम हो गई।