मऊ। उत्तर प्रदेश सरकार के ऊर्जा मंत्री अरविंद कुमार शर्मा के गृह जनपद में उस वक्त अजीब स्थिति उत्पन्न हो गई, जब उनके कार्यक्रम के दौरान ही बिजली गुल हो गई। यह घटना उस समय हुई जब वह हनुमान घाट मोहल्ला स्थित हरिकेशपुर टीसीआई मोड़ पर एक जनसभा को संबोधित कर रहे थे। अचानक विद्युत आपूर्ति ठप होने से पूरे आयोजन में अफरा-तफरी मच गई। आनन-फानन में अधिकारियों ने वैकल्पिक रोशनी का इंतजाम किया और बिजली आपूर्ति बहाल कराने की कोशिश की, लेकिन इस लापरवाही पर ऊर्जा मंत्री ने कड़ी नाराजगी जताई।
घटना के बाद ऊर्जा मंत्री अरविंद कुमार शर्मा ने विद्युत विभाग के अधिकारियों को तत्काल फटकार लगाई। इस लापरवाही को गंभीरता से लेते हुए पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम के प्रबंध निदेशक ने उपखंड अधिकारी प्रकाश सिंह और जेई ओपी कुशवाहा को तुरंत निलंबित कर दिया। इसके साथ ही, अधिशासी अभियंता भुवन राज सिंह और अधीक्षण अभियंता संजीव वैश्य को कारण बताओ नोटिस जारी कर स्पष्टीकरण मांगा गया है।
मुज़फ्फरनगर में पत्नी ने पति को कॉफी में मिलाकर दे दिया ज़हर, हालत गंभीर
यह घटना उस समय हुई जब ऊर्जा मंत्री मऊ जिले में ‘8 साल बेमिसाल’ कार्यक्रम में शामिल होने के लिए पहुंचे थे। 27 मार्च को आयोजित इस कार्यक्रम में विभिन्न परियोजनाओं की घोषणा की जानी थी। हनुमान घाट पर घाटों के पुनरुद्धार और विकास कार्यों की योजना के दौरान बिजली अचानक चली गई, जिससे पूरा कार्यक्रम अंधेरे में संपन्न हुआ। स्थिति इतनी खराब थी कि मंत्री को अपने जूते तक मोबाइल की फ्लैश लाइट से खोजने पड़े।
संजीव बालियान गरजे-सीओ को उठाकर नहर में फेंक देंगे,योगी सरकार में हो रहे फर्जी मुकदमें दर्ज!
इस घटना से नाराज ऊर्जा मंत्री अरविंद कुमार शर्मा ने अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिया कि भविष्य में ऐसी लापरवाही दोबारा न हो। उन्होंने कहा कि प्रदेश में बिजली व्यवस्था सुधारने के लिए सरकार लगातार काम कर रही है, लेकिन अधिकारियों की लापरवाही आम जनता के साथ-साथ सरकार की छवि पर भी असर डालती है। उन्होंने चेतावनी दी कि जो भी अधिकारी अपनी जिम्मेदारी ठीक से नहीं निभाएंगे, उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
इस घटना के बाद स्थानीय लोगों में भी आक्रोश देखने को मिला। लोगों का कहना है कि जब खुद ऊर्जा मंत्री के कार्यक्रम में ही बिजली गुल हो रही है, तो आम जनता की स्थिति क्या होगी? उन्होंने बिजली विभाग के अधिकारियों पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए ठोस सुधार की मांग की।
इस पूरे मामले को लेकर सरकार ने जांच के आदेश दे दिए हैं। ऊर्जा मंत्री ने स्पष्ट किया कि प्रदेश में निर्बाध बिजली आपूर्ति सरकार की प्राथमिकता है और इसमें कोई भी लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।