ग्रेटर नोएडा: राज्य वस्तु एवं सेवा कर (GST) कार्यालय में कार्यरत प्रशासनिक अधिकारी सत्येंद्र बहादुर सिंह को 45 हजार रुपये की रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया है। यह कार्रवाई सोमवार को सतर्कता अधिष्ठान मेरठ सेक्टर की ट्रैप टीम ने की। टीम ने शिकायत मिलने पर पूर्व योजना के तहत GST कार्यालय में दबिश दी और आरोपी को रंगे हाथ पकड़ लिया। अब नॉलेज पार्क कोतवाली में उनके खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज कराया गया है।
शिकायतकर्ता व्यापारी की “मैसर्स रामाटेक” नामक फर्म, गांव सलारपुर, नोएडा में स्थित है, जो वर्ष 2016 से कंप्यूटर रिपेयरिंग का कार्य कर रही है। व्यापारी का कहना है कि वह नियमित रूप से वैट एवं GST विभाग में कर जमा करता रहा है।
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लेकिन 29 अप्रैल 2025 को शिकायतकर्ता को एक व्यक्ति भूदेव का फोन आया, जिसमें उसने बताया कि फर्म का 2016-17 और 2017-18 का GST एसेसमेंट लंबित है और कुल ₹4,55,840 की बकाया राशि जमा करनी होगी। साथ ही उसने GST कार्यालय बुलाकर कानूनी कार्रवाई की चेतावनी दी।
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9 मई 2025 को जब व्यापारी GST कार्यालय पहुंचा, तो वहां भूदेव ने उसे दबाव बनाया कि वह रकम जल्द से जल्द जमा करे अन्यथा कोर्ट केस और पेनल्टी का सामना करना पड़ेगा। 13 मई को व्यापारी की मुलाकात अधिकारी सतेंद्र बहादुर सिंह से हुई, जिन्होंने वही बकाया राशि बताई और कहा कि यदि वह ₹50,000 की रिश्वत देता है, तो वह पूरा मामला बिना किसी कार्रवाई के समाप्त कर देगा।
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व्यापारी ने इसकी जानकारी तुरंत सतर्कता अधिष्ठान मेरठ को दी। विभाग ने 19 मई को जाल बिछाया और जैसे ही अधिकारी ने रिश्वत की रकम ली, उन्हें पकड़ लिया गया। इसके बाद अभियुक्त को नॉलेज पार्क थाने लाकर पूछताछ की गई और जरूरी दस्तावेजों की जब्ती की गई।
सतर्कता विभाग ने जनता से अपील की है कि यदि कोई अधिकारी रिश्वत मांगता है, तो हेल्पलाइन नंबर 9454401866 पर तत्काल शिकायत दर्ज कराएं। विभाग का दावा है कि सभी शिकायतों पर त्वरित और प्रभावी कार्रवाई की जाएगी।