नई दिल्ली। पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह की अस्थियां रविवार को उनके परिवार के सदस्यों द्वारा सिख रीति-रिवाजों के साथ मजनू का टीला गुरुद्वारे के पास यमुना नदी में विसर्जित कर दी गई। कांग्रेस ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर अपने ऑफिशियल अकाउंट से अस्थि विसर्जन का वीडियो साझा करते हुए लिखा, ”आज भारत मां के सपूत और देश के पूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह की अस्थियां पूरे विधि-विधान के साथ मजनू का टीला स्थित गुरुद्वारे के पास यमुना घाट पर विसर्जित की गईं।
दल्लेवाल के स्वास्थ्य मामले में पंजाब सरकार के जबाव से सुप्रीम कोर्ट असंतुष्ट, 31 को सुनवाई
हम सभी मनमोहन सिंह जी की देश सेवा, समर्पण और उनकी सहजता को हमेशा याद रखेंगे।” वहीं, भाजपा आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने आरोप लगाया कि पूर्व पीएम मनमोहन सिंह के अस्थि विसर्जन के वक्त कांग्रेस का कोई नेता मौजूद नहीं था। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर फोटो भी शेयर की। अमित मालवीय ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, ”यह देखकर बहुत दुख हुआ कि डॉ. मनमोहन सिंह जी के पार्थिव शरीर को लेने के लिए कांग्रेस या गांधी परिवार का एक भी सदस्य नहीं आया। मीडिया का ध्यान खींचने और राजनीति करने के लिए कांग्रेस मौजूद थी, लेकिन जब उन्हें सम्मान देने की बात आई तो वे नदारद हो गए।
मुज़फ्फरनगर में घेर की छत भरभराकर गिरी, ग्रामीण की मौत, कई पशु भी हुए जख्मी
वाकई शर्मनाक है।” बता दें कि 26 दिसंबर को पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का निधन 92 साल की आयु में दिल्ली के एम्स में हो गया था। 28 दिसंबर को उनका अंतिम संस्कार दिल्ली के निगमबोध घाट पर किया गया था। इससे पहले कांग्रेस ने केंद्र सरकार पर पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के स्मारक के लिए स्थान आवंटित न करके उनका अपमान करने का आरोप लगाया था। दरअसल, कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने प्रधानमंत्री मोदी के नाम चिट्ठी लिखकर पूर्व पीएम का अंतिम संस्कार वहीं कराने का निवेदन किया था, जहां पर उनका स्मारक बने। लेकिन गृह मंत्रालय ने इसका जवाब दिया कि दिवंगत प्रधानमंत्री के अंतिम संस्कार के लिए निगमबोध घाट को चुना गया है, उनका स्मारक दिल्ली में बनेगा। इस प्रक्रिया में समय लगेगा और उचित जगह तलाशने के लिए कमेटी बनाई जाएगी।