मुजफ्फरनगर। जनपद में एक अप्रैल से संचारी रोग नियंत्रण अभियान का आगाज होगा। इस संबंध में जिलाधिकारी अरविंद मलप्पा बंगारी व मुख्य विकास अधिकारी संदीप भागिया की ओर से दिशा-निर्देश जारी कर दिए गए हैं। उन्होंने निर्देशित किया है कि जिले में संचारी रोग नियंत्रण अभियान को सफल बनाने के लिए विभिन्न विभागों का सहयोग लेकर सफल बनाया जाए और कोई भी कोताही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. महावीर सिंह फौजदार ने बताया – जनपद में एक से 30 अप्रैल तक विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान चलेगा तथा इसके अंतर्गत 17 अप्रैल से 30 अप्रैल तक दस्तक अभियान चलाया जाएगा, जिसमें आशा कार्यकर्ता घर-घर जाकर दस्तक देंगी और संचारी रोग के प्रति जागरूक भी करेंगी। उन्होंने बताया – इस अभियान को सफल बनाने में स्वास्थ्य विभाग, नगर विकास विभाग, शिक्षा विभाग, पंचायती राज एवं ग्रामीण विकास विभाग, पशुपालन विभाग, महिला एवं बाल विकास विभाग, कृषि विभाग, सिंचाई विभाग, सूचना विभाग, दिव्यांगजन विभाग का सहयोग लिया जाएगा। जिलाधिकारी के निर्देशों के क्रम में सभी विभागों से 27 मार्च तक कार्ययोजना मांगी गई है, जिसके आधार पर वह अभियान के तहत कार्य करेंगे।
मलेरिया अधिकारी अलका सिंह ने बताया – जनपद वासियों को मच्छर जनित बीमारियों से सुरक्षित बनाना स्वास्थ्य विभाग का लक्ष्य है। संचारी रोग अभियान के तहत गली-गली और मोहल्लों में नालियों की विशेष सफाई पर फोकस किया जाएगा, जलभराव का निस्तारण, निरंतर स्तर पर फॉगिंग, एंटी लार्वा का छिड़काव आदि सुनिश्चित कराया जाएगा। इसके अलावा ग्रामीण क्षेत्रों में विशेष स्वच्छता अभियान संचालित किया जाएगा और दस्तक अभियान के तहत आशा कार्यकर्ता घर-घर जाकर लोगों को संचारी रोग अभियान के तहत जागरूक भी करेंगी। इसके साथ ही प्रचार-प्रसार के लिए व्यापक इंतजाम भी किए जाएंगे। ग्लोबल वार्मिंग, अम्लीय वर्षा स्मॉग, चूहा, छुछुन्दर आदि के विषय पर गोष्ठियां कर किसानों को समझाया जाएगा।
उन्होंने बताया – संचारी रोग नियंत्रण अभियान के तहत मुख्य पशु चिकित्साधिकारी को पशुओं में होने वाली बीमारी की रोकथाम के लिए टीकाकरण एवं पशुओं में होने वाली बीमारियों का प्रचार-प्रसार कराकर लोगों को जागरूक किया जाएगा। सुअरों से होने वाली बीमारी से भी लोगों को जागरूक किया जाएगा। वहीं वायु प्रदूषण का स्वास्थ्य पर प्रभाव जैसे श्वसन रोग, हृदय रोग, त्वचा रोग, आंखों में जलन आदि के मरीजों पर स्वास्थ्य विभाग का फोकस होगा। इसके अलावा ग्रीष्म ऋतु में लू, हीट स्ट्रोक हीटवेव से बचाव के लिए जन जागरूकता कार्यक्रम आयोजित कर लोगों को जागरूक किया जाएगा।