मेरठ। हस्तिनापुर में कस्बे की न्यू ब्लॉक कॉलोनी में चल रही पांच दिवसीय शीतला माता पूजा महोत्सव के अंतिम दिन श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ी। श्रद्धालु शीतला माता को मनाने के लिए दहकते हुए अंगारों के कुंड में नंगे पैर चले और मुख व शरीर के कई हिस्सों को लोहे के त्रिशूलों से भेदकर मां की भक्ति प्रदर्शित की। यह दृश्य देखकर कस्बे के लोग आश्चर्य चकित रह गए।
कहते हैं कि अगर आस्था भक्त प्रहलाद की तरह हो तो अंगारे भी फूल बन जाते हैं। ऐसा ही दृश्य सोमवार को कस्बे की न्यू ब्लॉक कॉलोनी में देखने को मिला। यहां चल रही शीतला माता पूजा के पांचवें दिन भक्तों ने मां की भक्ति में अपनी अग्नि परीक्षा देते हुए लोगों को आश्चर्य चकित कर दिया।
शीतला माता की पूजा में सर्व समाज के लोग पूजा-अर्चना के लिए शामिल होते हैं। दूर-दूर से आए महिला एवं पुरुष श्रद्धालुओं प्रतिदिन माटी की हांडी में अखंड ज्योति सिर पर रखकर विश्व शांति के लिए नगर में भ्रमण किया। महोत्सव के अंतिम दिन सैकड़ों श्रद्धालुओं ने माता शीतला और भगवान कार्तिकेय की प्रतिमा की भव्य शोभा यात्रा निकाली। जिसका कई स्थानों पर स्वागत हुआ। शीतला माता के मंदिर प्रांगण में दहकते हुए अंगारों के कुंड से सिर पर अखंड ज्योति लेकर पुजारी निकले। इसके बाद दर्जन भर से अधिक श्रद्धालु नंगे पैर अंगारों के ऊपर से गुजरे।
पूजा महोत्सव में आंध्र प्रदेश, दिल्ली समेत दूरदराज से श्रद्धालु शामिल हुए। श्रद्धालुओं ने बताया कि जब उनकी मन्नत पूरी होती है तो वह अग्नि परीक्षा देकर मां की भक्ति को पूर्ण करते हैं। माता का आशीर्वाद रहता है कि दहकती आग भी उनका बाल बांका नहीं करती। पूजा महोत्सव के समापन के तीन दिन बाद भैरो बाबा की पूजा की जाती है।