मुज़फ्फरनगर। समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष ज़िया चौधरी एडवोकेट ने एक प्रेस बयान जारी कर रालोद पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि बुधवार को मुजफ्फरनगर से समाजवादी पार्टी छोड़कर राष्ट्रीय लोकदल (रालोद) में शामिल होने वाले जिन लोगों की घोषणा की गई है, वह पूरी तरह फर्जी और भ्रामक है।
ज़िया चौधरी ने कहा कि रालोद में जाने की बात कहने वाले व्यक्तियों का समाजवादी पार्टी से न तो कोई पदाधिकारिता संबंध रहा है और न ही वे कभी सपा के सक्रिय कार्यकर्ता रहे हैं। उन्होंने खुलासा किया कि ये लोग दरअसल पहले बसपा या भाजपा अल्पसंख्यक मोर्चा से जुड़े रहे हैं, न कि समाजवादी पार्टी से।
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जिलाध्यक्ष ने रालोद पर निशाना साधते हुए कहा कि वक्फ के काले कानून पर रालोद द्वारा भाजपा को समर्थन दिए जाने से मुस्लिम समाज और सेक्युलर ताकतों में गहरी नाराज़गी है। इसी नाराज़गी से घबराकर रालोद अब फर्जी समर्थन की घोषणाएं कर रहा है, ताकि अपने पक्ष में माहौल दिखा सके।”
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ज़िया चौधरी ने आगे कहा कि जिले में समाजवादी पार्टी पूरी तरह अनुशासित, मजबूत और संगठित है। पार्टी का प्रत्येक कार्यकर्ता निष्ठावान है और किसी भी प्रकार के प्रलोभन या झूठे प्रचार से प्रभावित नहीं होने वाला।
उन्होंने कहा कि रालोद की यह रणनीति दरअसल मुस्लिम समाज में बिगड़ी छवि को सुधारने की नाकाम कोशिश है, लेकिन अब लोग जान चुके हैं कि किसने उनके हितों को धोखा दिया है और कौन वाकई उनके साथ खड़ा है।