गाजियाबाद। नौ साल पहले जहर देकर पत्नी की हत्या करने के दोषी पति कुलदीप उर्फ मोनू को अदालत ने दस साल कठोर कारावास की सजा सुनाई है। न्यायाधीश नीरज गौतम ने दोषी पर पांच हजार रुपये अर्थदंड भी लगाया है। केस के विचारण के बाद अदालत ने कुलदीप की मां सास विमला को साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया।
दिल्ली के पटपड़गंज निवासी भगवान सिंह ने अपनी बेटी रीना की शादी 29 फरवरी 2015 को खोड़ा निवासी कुलदीप उर्फ मोनू के साथ की थी। शादी के बाद से ही कुलदीप पत्नी पर तीन लाख रुपये, उसकी नौकरी लगवाने और मकान बनवाने की मांग करता था। मांग पूरी नहीं होने पर आए दिन मारपीट करता था।
शादी के चार महीने बाद ही 18 अगस्त 2015 को शाम 4:30 बजे जहर पिला दिया। सूचना मिलने पर मायके वालों ने पहुंचकर रीना को दिल्ली के लाल बहादुर शास्त्री अस्पताल में भर्ती कराया लेकिन, उपचार के दौरान ही रीना की मौत हो गई। सुनवाई के दौरान अदालत में अभियोजन पक्ष ने सात गवाहों के बयान दर्ज कराए थे।