मुजफ्फरनगर– जनपद के प्रगतिशील किसानों को प्रोत्साहन देने के उद्देश्य से जिलाधिकारी मुजफ्फरनगर उमेश मिश्रा ने आज ग्राम नाईपुरा, विकासखण्ड जानसठ का भ्रमण किया। इस दौरान उन्होंने कृषक जगराज सिंह के खेत का निरीक्षण किया, जहां आधुनिक तकनीकों के माध्यम से खेती कर एक मिसाल कायम की जा रही है।
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कृषक जगराज सिंह कुल 16 एकड़ भूमि पर खेती कर रहे हैं, जिसमें 5 एकड़ में मक्का, 7 एकड़ में तरबूज और खरबूजे तथा 4 एकड़ में हरी मिर्च की फसलें ली जा रही हैं। उनके खेत में उद्यान विभाग द्वारा अनुदानित ड्रिप सिचाई प्रणाली स्थापित की गई है, जिससे न केवल जल की बचत हो रही है, बल्कि उर्वरकों की खपत भी घट रही है।
इसके अतिरिक्त, कृषि विभाग की पी.एम. कुसुम योजना के अंतर्गत 5 एच.पी. का सोलर पंप भी लगाया गया है।
कृषक जगराज सिंह ने बताया कि एक एकड़ में तरबूज और खरबूज से लगभग ₹50,000 का लाभ प्राप्त होता है। खरीफ मौसम में मक्का और रबी में सब्जी की खेती से भी लगभग ₹50,000-₹50,000 की आमदनी होती है। इस प्रकार प्रति एकड़ सालाना आय ₹1 से ₹1.5 लाख तक पहुंच रही है। इसके अतिरिक्त, मक्का, आलू और मेथी की फसल से भी प्रति एकड़ ₹1.5 लाख तक का लाभ प्राप्त हो रहा है।
ड्रिप सिचाई प्रणाली के साथ-साथ श्री सिंह वर्मी कम्पोस्ट का भी प्रयोग कर रहे हैं, जिससे रासायनिक उर्वरकों की निर्भरता कम हो रही है और स्वास्थ्यवर्धक फसलें प्राप्त हो रही हैं। जिलाधिकारी ने वर्मी कम्पोस्ट यूनिट का भी निरीक्षण किया और जगराज सिंह की इस पहल की सराहना करते हुए कहा कि –
“फसल विविधीकरण अपनाकर, कृषक अपनी आय बढ़ाएं और ड्रिप सिचाई विधि से पानी और उर्वरक की बचत करें।”
उन्होंने कृषक को प्रेरित करते हुए कहा कि इस मॉडल को कम से कम 100 अन्य किसानों के बीच प्रसारित करें ताकि ज्यादा से ज्यादा कृषक लाभान्वित हो सकें। कृषक ने जानकारी दी कि क्षेत्र के 8–10 किसान पहले से ही सैकड़ों एकड़ भूमि में मक्का, मिर्च, तरबूज और खरबूज की खेती कर रहे हैं।
अंत में जिलाधिकारी ने उप निदेशक कृषि को निर्देशित किया कि जगराज सिंह को जिला स्तर पर सम्मानित किया जाए, जिससे अन्य किसान भी इस तरह की उन्नत तकनीकों को अपनाने के लिए प्रोत्साहित हों।