नोएडा। नोएडा प्राधिकरण को वर्ल्ड वाटर अवार्ड 2023-24 के तहत वाटर वारियर के रूप में चुना गया है। यह पुरस्कार भारत सरकार के जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने नई दिल्ली के एक होटल में आयोजित कार्यक्रम के दौरान दिया। पुरस्कार को नोएडा प्राधिकरण के एसीईओ सतीश पाल और जल एवं सीवर विभाग के उप महाप्रबंधक आरपी सिंह द्वारा प्राप्त किया गया।
नोएडा प्राधिकरण में आयोजित एक प्रेस वार्ता के दौरान एसीईओ सतीश पाल ने बताया कि यह अवार्ड ‘बेस्ट एसटीपी गवर्नमेंट’ और ‘वाटर रियूज प्रोजेक्ट ऑफ इयर’ की श्रेणी में दिया गया है। उन्होंने बताया कि नोएडा प्राधिकरण को भारत सरकार और यूनेस्को के द्वारा संयुक्त रूप से वर्ल्ड वाटर अवार्ड के दो श्रेणियां में विजेता के रूप में चुना गया है। नई दिल्ली के एक होटल में आयोजित एक समारोह में जल शक्ति मंत्री गजेंद्र शेखावत ने यह पुरस्कार प्रदान किया।
एसीईओ एसपी सिंह ने बताया कि डाइजेस्ट वाटर अवार्ड की टीम ने यह अवार्ड आयोजित किया था।
उन्होने बताया कि वर्तमान में नोएडा में कुल चार सीवर डिट्रिक्ट के द्वारा कुल 8 सीवेज शोधन संयंत्र पद्धति पर काम कर रहे है। सभी सयंत्रों की क्षमता 411 एमएलडी है। सभी संयंत्रों पर स्टेज 1, 2 व 3 के तहत पूर्ण क्लोरिनेशन के साथ उच्च श्रेणी के शोधित जल की उपलब्धता क्षेत्रीय उपचार संयंत्र के साथ है एवं सभी सयंत्र सीपीसीबी सर्वर पर ऑनलाईन है।
उन्होंने बताया कि इन सभी प्लाटों से कुल 260 एमएलडी का संशोधित जल की उपलब्ध है। कुल प्राप्त हो रहे 260 एमएलडी संशोधित जल में से 70-75 एमएलडी मात्रा का उपयोग भू-जल स्तर सुधार, हरित पट्टी, पार्क की सिंचाई, गोल्फ कोर्स, वैटलैण्ड, निर्माण गतिविधियों, अग्निशमन, तालाब एवं सड़क छिड़काव के लिए किया जा रहा है। उन्होने बताया कि वित्तीय वर्ष 2024-25 तक प्राधिकरण द्वारा 125 एमएलडी शोधित जल को विभिन्न कार्यों के लिए उपयोग करने का लक्ष्य रखा गया है।