गाजियाबाद। स्वास्थ्य विभाग के एनआरएचएम घोटाले के तीन अलग-अलग केस में सुनवाई के बाद विशेष सीबीआई कोर्ट में तारीख लगा दी गई। अदालत में सुनवाई के दौरान गवाह पेश नहीं हुए। दो केस में घोटाले के मुख्य आरोपी तत्कालीन स्वास्थ्य महानिदेशक परिवार कल्याण डॉ.एसपी राम की मौत हो चुकी है। अदालत ने अलग-अलग केसों में सुनवाई के लिए 24 मार्च की तारीख लगाई है।
सीबीआई कोर्ट से मिली जानकारी के अनुसार बसपा शासन काल में वर्ष 2005-06 में एनआरएचएम योजना में प्रदेश के स्वास्थ्य विभाग के लिए करोड़ों रुपये की योजना चलाई गई थी। लेकिन दवा, उपकरणों और कंप्यूटर आदि की खरीदारी में बड़े पैमाने पर घोटाला हुआ। इसमें सीबीआई अब तक सवा सौ से अधिक आपराधिक मुकदमे दर्ज कर चुकी है। सीबीआई ने जांच में एक केस में करीब आठ करोड़ रुपये की गड़बड़ी पाई थी।
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इसके अलावा करोड़ों रुपये का एनआरएचएम घोटाला हुआ था। इसमें दवाइयों की आपूर्ति, अस्पतालों में हुए निर्माण कार्य, सीएमओ परिवार कल्याण की नियुक्ति के नाम पर रिश्वत लिया गया था। दवा कारोबारियों के इशारे पर हुई नियुक्ति में सीएमओ से रुपये लेने के अलावा दवा कारोबारियों के कहने पर अनावश्यक दवाइयों की आपूर्ति की। सीबीआई ने जांच के बाद पूर्व मंत्री बाबू सिंह कुशवाहा के साथ यूपीएसआईसी के तत्कालीन प्रबंध निदेशक अभय कुमार वाजपेयी, पूर्व स्वास्थ्य महानिदेशक डॉ.एसपी राम समेत कई दवा कारोबारी को आरोपी बनाया है।