गुजरात में हेल्थकेयर सिस्टम पर गिरी गाज: एक्सपायर दवाएं, डॉक्टर गायब और मानकों की धज्जियां उड़ाने पर दो प्राइवेट अस्पताल सस्पेंड, दो को नोटिस
Gujarat News: गुजरात सरकार ने सरकारी स्वास्थ्य योजनाओं में अनियमितता करने वाले निजी अस्पतालों पर बड़ी कार्रवाई की है। औचक निरीक्षण में चार में से दो अस्पताल - गोधरा का दीप चिल्ड्रन्स हॉस्पिटल और भरूच का काशिमा हॉस्पिटल को निलंबित कर दिया गया, जबकि कालोल और देवगढ़ बारिया के दो अस्पतालों को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया।
गोधरा के अस्पताल में एक्सपायर दवाएं और डॉक्टर नदारद
भरूच के अस्पताल में भी गड़बड़ियों का अंबार
भरूच के काशिमा हॉस्पिटल में भी स्वास्थ्य मानकों का खुला उल्लंघन पाया गया। औचक निरीक्षण में सामने आया कि अस्पताल में योग्य नर्सिंग स्टाफ नहीं था, डॉक्टर दोपहर 12 बजे तक नहीं आते थे, और संक्रमण नियंत्रण के नियमों का पालन नहीं किया जा रहा था। साथ ही अस्पताल के पास बी.यू. परमिशन और फायर NOC भी नहीं थी। इन सब कारणों से अस्पताल को निलंबित करने का आदेश जारी हुआ।
दो अस्पतालों को कारण बताओ नोटिस, CCTV देने से किया इनकार
कालोल के मदर चिल्ड्रन एंड जनरल हॉस्पिटल में सरकारी योजनाओं की जानकारी के लिए कियोस्क नहीं लगाया गया था, जबकि देवगढ़ बारिया के मातृ शिशु एवं नवजात अस्पताल में एक्सपायर दवाएं मिलीं और अस्पताल प्रबंधन ने CCTV फुटेज देने से भी इनकार कर दिया। दोनों अस्पतालों को कारण बताओ नोटिस जारी कर जवाब मांगा गया है।
स्वास्थ्य मंत्री का सख्त संदेश-लापरवाही बर्दाश्त नहीं
राज्य के स्वास्थ्य मंत्री प्रफुल्ल पानशेरिया ने कहा कि सरकार का उद्देश्य स्वास्थ्य सेवाओं को पारदर्शी और जनहितकारी बनाना है। उन्होंने कहा कि पीएमजेएवाई-मां योजना गरीबों के लिए वरदान है, इसलिए इसमें किसी भी प्रकार की लापरवाही या भ्रष्टाचार सहन नहीं किया जाएगा।
