दिसंबर की गर्मी बन रही है रबी फसलों की सबसे बड़ी दुश्मन,तापमान और नमी से गेहूं आलू टमाटर में तेजी से बढ़ रहा रोग का खतरा
रबी फसल की बुवाई अब लगभग पूरी हो चुकी है और इस समय खेतों में सिंचाई का काम जोरों पर चल रहा है। गेहूं चना सरसों जौ लहसुन प्याज आलू और टमाटर जैसी फसलें अच्छी स्थिति में हैं। हालांकि दिसंबर में तापमान में अपेक्षित गिरावट न होने और दिन में गर्मी रहने से रोगों का खतरा बढ़ने लगा है। अगर अभी सही समय पर ध्यान न दिया जाए तो फसल को नुकसान हो सकता है। इसलिए इस दौर में सतर्क रहना बहुत जरूरी है।
गेहूं की देरी से बुवाई करने वालों के लिए जरूरी सलाह
गेहूं में सही समय पर सिंचाई क्यों जरूरी है
गेहूं की फसल में पहली सिंचाई बुवाई के लगभग 20 से 25 दिन बाद शीर्ष जड़ जमने की अवस्था में करनी चाहिए। इसी समय नाइट्रोजन उर्वरक की पहली मात्रा देने से फसल मजबूत बनती है। खेत में पानी भरने से बचना चाहिए क्योंकि अधिक नमी से रोग फैलने की संभावना बढ़ जाती है।
आलू और टमाटर में झुलसा रोग से कैसे बचें
इस मौसम में हवा में नमी बढ़ने के कारण आलू और टमाटर में झुलसा रोग का खतरा बना रहता है। इसलिए फसल की नियमित निगरानी बहुत जरूरी है। जैसे ही पत्तियों पर लक्षण दिखाई दें तुरंत उपचार करना चाहिए। समय पर छिड़काव करने से रोग को फैलने से रोका जा सकता है और फसल सुरक्षित रहती है।
गेहूं और जौ में दीमक से बचाव के उपाय
कई जगहों पर गेहूं और जौ की फसल में दीमक का प्रकोप भी देखने को मिल रहा है। दीमक फसल की जड़ों को नुकसान पहुंचाती है जिससे पौधे कमजोर हो जाते हैं। ऐसे में समय रहते उपचार करने से फसल को बचाया जा सकता है। उपचार के बाद हल्की सिंचाई करना फायदेमंद रहता है।
जीरे की फसल में सिंचाई और निराई का महत्व
जीरे की फसल में अच्छे अंकुरण के लिए नियमित सिंचाई जरूरी होती है। लगभग 7 से 8 दिन के अंतराल पर पानी देते रहना चाहिए। साथ ही जौ की फसल में पहली सिंचाई के बाद 10 से 12 दिन के भीतर निराई गुड़ाई जरूर करें। इससे खरपतवार निकल जाते हैं और फसल को पूरा पोषण मिलता है।
चने की फसल में कीट नियंत्रण कैसे करें
चने की फसल में इस समय कटवर्म कीट का खतरा बना रहता है। यदि समय पर नियंत्रण न किया जाए तो यह फसल को भारी नुकसान पहुंचा सकता है। इसलिए खेत की निगरानी करते रहें और लक्षण दिखते ही उचित दवा का उपयोग करें। इससे चने की फसल सुरक्षित रहती है।
आम के पेड़ों में मिलीबग से बचाव
इस मौसम में मिलीबग के बच्चे जमीन से निकलकर आम के तनों पर चढ़ने लगते हैं। इसे रोकने के लिए तनों के चारों ओर निर्धारित ऊंचाई पर पट्टी लगाना बहुत असरदार उपाय माना जाता है। इसके साथ ही तनों के आसपास की मिट्टी की खुदाई करने से उनके अंडे नष्ट हो जाते हैं।
गोभी वर्गीय सब्जियों की देखभाल ऐसे करें
फूलगोभी बंद गोभी नोलखोल और ब्रोकली की रोपाई इस समय उठी हुई क्यारियों में की जा सकती है। इन सब्जियों में पत्ती खाने वाले कीटों की निगरानी लगातार करनी चाहिए। समय पर उपचार करने से फसल स्वस्थ रहती है और उत्पादन भी बेहतर होता है।
सही समय पर देखभाल से फसल रहेगी सुरक्षित
कुल मिलाकर यह समय रबी फसलों के लिए बहुत अहम है। थोड़ी सी सावधानी और नियमित निगरानी से गेहूं चना आलू टमाटर और सब्जियों को रोगों और कीटों से बचाया जा सकता है। सही सिंचाई संतुलित पोषण और समय पर उपचार से फसल अच्छी पैदावार दे सकती है।
Disclaimer यह लेख सामान्य जानकारी के उद्देश्य से लिखा गया है। किसी भी दवा या तकनीक का उपयोग करने से पहले स्थानीय कृषि विशेषज्ञ की सलाह अवश्य लें।
