संजय राउत ने विपक्षी एकजुटता पर दिया जोर: मुंबई को भाजपा और अदाणी समूह के खतरे से बचाने की अपील

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी का समीकरण

संयुक्त महाराष्ट्र समिति का इतिहास और मुंबई की सुरक्षा
राउत ने कांग्रेस नेताओं को याद दिलाया कि संयुक्त महाराष्ट्र समिति के इतिहास में सभी दल शहर को बचाने के लिए एकजुट हुए थे। उन्होंने कहा, "मुंबई सुरक्षा और लोकतंत्र की रक्षा के लिए सभी विपक्षी दलों को एकजुट रहना चाहिए। अगर ऐसा हुआ तो ‘मराठी मानुष’ का समर्थन अनुकूल रहेगा।"
स्थानीय चुनावों में गठबंधन की रणनीति
राउत ने कहा कि अगर किसी सहयोगी दल ने बीएमसी या स्थानीय निकाय चुनावों में अलग रुख अपनाया है, तो यह उनकी अपनी मर्जी है। उन्होंने जोर देकर कहा कि शिवसेना (उबाठा) भाजपा को हराने और मुंबई को अदाणी समूह के कब्जे से बचाने के लक्ष्य पर केंद्रित है। उन्होंने यह भी कहा कि मनसे एक स्वतंत्र पार्टी है और गठबंधन की रणनीति पर उनके बयान का कोई असर नहीं होगा।
कांग्रेस नेतृत्व पर कटाक्ष और गठबंधन पर बातचीत
राउत ने कांग्रेस के स्थानीय नेतृत्व पर कटाक्ष करते हुए कहा कि चुनाव पूर्व गठबंधन पर कोई निर्णय केवल कांग्रेस के केंद्रीय नेताओं से चर्चा करने के बाद ही लिया जाएगा। उन्होंने राहुल गांधी, मल्लिकार्जुन खरगे, के.सी. वेणुगोपाल और रमेश चेन्निथला का नाम लिया।
उन्होंने बताया कि 13 अक्टूबर को एमवीए में मनसे को शामिल करने की संभावना पर वेणुगोपाल सहित कांग्रेस नेतृत्व के साथ कुछ मुद्दों पर चर्चा कर चुके हैं।
मुंबई की सुरक्षा और लोकतंत्र की रक्षा पर संदेश
राउत ने स्पष्ट किया कि यह केवल राजनीतिक रणनीति नहीं, बल्कि लोकतंत्र, संविधान और मुंबई की सुरक्षा की लड़ाई है। उन्होंने कहा कि विपक्षी दल अगर एकजुट रहेंगे, तो शहर के मराठी भाषी लोग और आम नागरिक इसके पक्ष में होंगे।
