आलू की अगेती खेती से किसानों की किस्मत चमक उठेगी, कम समय में तैयार होगी फसल और मिलेगी लाखों की कमाई का सुनहरा अवसर

दोस्तों खेती किसानी में जब मेहनत का फल समय पर और अच्छे दाम में मिल जाए तो किसान की खुशी का ठिकाना नहीं रहता। भारत में आलू ऐसी फसल है जो हर घर की रसोई का हिस्सा है और किसान भाई इसकी खेती बड़े स्तर पर करना पसंद करते हैं। खासकर अगेती आलू की खेती किसानों
कुफरी बहार किस्म की खासियत
कुफरी बहार किस्म अगेती आलू की किस्मों में गिनी जाती है। इसकी सबसे बड़ी खूबी यह है कि इसमें रोगों के प्रति सहनशीलता पाई जाती है जिससे पैदावार पर नकारात्मक असर नहीं पड़ता। यही वजह है कि किसान इसे आत्मविश्वास से उगाते हैं। इस किस्म की सबसे अधिक मांग बड़ी कंपनियों और प्रोसेसिंग यूनिट्स में होती है क्योंकि इससे बने आलू के चिप्स और फ्रेंच फ्राइज का स्वाद और गुणवत्ता बेहतरीन होती है।
खेती का सही समय और तरीका
इस किस्म की खेती अक्टूबर महीने में करना सबसे सही रहता है। इसके लिए खेत की पहले गहरी जुताई करनी चाहिए और मिट्टी को भुरभुरा बनाने के साथ कम्पोस्ट खाद डालनी चाहिए। कुफरी बहार किस्म के लिए हल्की और दोमट मिट्टी सबसे उपयुक्त मानी जाती है। बीज की मात्रा लगभग 25 से 30 क्विंटल प्रति हेक्टेयर पर्याप्त होती है। कतार से कतार की दूरी 60 सेंटीमीटर और पौधे से पौधे की दूरी 20 सेंटीमीटर रखना जरूरी है। ठंडी जलवायु में यह किस्म बहुत अच्छी पैदावार देती है और बुवाई के लगभग 90 से 100 दिनों में फसल पूरी तरह तैयार हो जाती है।
कुफरी बहार से बंपर उत्पादन
दोस्तों अगेती खेती की सबसे बड़ी ताकत यही है कि जल्दी तैयार होने वाली फसल हमेशा बाजार में ज्यादा दाम दिलाती है। कुफरी बहार किस्म का उत्पादन क्षमता भी जबरदस्त है। एक हेक्टेयर में इसकी खेती करने से लगभग 300 से 400 क्विंटल आलू आसानी से पैदा किया जा सकता है। इसकी भंडारण क्षमता भी अच्छी होती है जिससे किसान इसे लंबे समय तक सुरक्षित रख सकते हैं। अगर कमाई की बात करें तो किसान भाई कुफरी बहार किस्म से प्रति हेक्टेयर 6 से 8 लाख रुपये तक की कमाई आराम से कर सकते हैं। यही वजह है कि यह किस्म किसानों के बीच पहली पसंद बन चुकी है।
किसानों के लिए फायदे का सौदा
आज के समय में जब खेती की लागत लगातार बढ़ रही है ऐसे में किसानों को ऐसी फसलों और किस्मों की तलाश रहती है जो कम समय में अधिक पैदावार और बेहतर दाम दिला सके। कुफरी बहार किस्म की अगेती खेती किसानों के लिए यही सुनहरा मौका है। यह किस्म न केवल अधिक उत्पादन देती है बल्कि मंडी में ऊंचे भाव पर बिककर किसानों की जेब भी भर देती है।