मुजफ्फरनगरः हत्या मामले में गैंगस्टर एक्ट के तहत सज़ा, अभियुक्त नरेंद्र को 4 वर्ष का कठोर कारावास व 10,000 रुपए का जुर्माना
मुजफ्फरनगर। थाना चरथावल क्षेत्र में वर्ष 2001 में हुई चर्चित हत्या प्रकरण पर आज गैंगस्टर कोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाया। ग्राम पावटी थाना चरथावल निवासी अभियुक्त नरेंद्र पुत्र समय सिंह को गैंगस्टर एक्ट के तहत चार वर्ष का कठोर कारावास एवं ₹10,000 के जुर्माने से दंडित किया गया।
विद्वान न्यायाधीश गैंगस्टर कोर्ट काशिफ शेख ने यह निर्णय सुनाया। उल्लेखनीय है कि मुख्य आरोपी समय सिंह की पूर्व में ही मृत्यु हो चुकी है, जबकि इसी हत्या मामले में समय सिंह, नरेंद्र और सुरेंद्र को पहले ही आजीवन कारावास की सजा दी जा चुकी है।
क्या था पूरा मामला?
घटना 20 अक्टूबर 2001 की है। ग्राम पावटी खुर्द निवासी विजेंद्र पुत्र बुद्ध सिंह ने थाना चरथावल में तहरीर देकर बताया था कि उसके भाई चंद्रहास और समय सिंह के बीच सुबह कहासुनी हुई थी, जिसे ग्रामीणों ने शांत करा दिया। इसके बाद समय सिंह ने धमकी दी कि “इसका मज़ा चखाऊँगा।”
उसी दिन शाम लगभग 5 बजे चंद्रहास सौदा लेने के लिए रकम सिंह की दुकान पर गया, जहां समय सिंह अपने पुत्रों नरेंद्र और सुरेंद्र के साथ तमंचों से लैस पहुंचा।
गवाहों के अनुसार, समय सिंह ने कहा—“इसने मेरी बेइज्जती की थी, आज इसे जान से मार देते हैं।”
भागने की कोशिश कर रहे चंद्रहास को दुकानदार रकम सिंह ने पकड़ लिया और तभी तीनों आरोपियों ने उस पर गोलियां बरसा दीं, जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई।
गैंगस्टर एक्ट की कार्यवाही
हत्या की गंभीरता और अपराधियों की लगातार आपराधिक गतिविधियों को देखते हुए तत्कालीन थाना अध्यक्ष आर.के. मानिक ने उनके विरुद्ध गैंगस्टर एक्ट के तहत अभियोग पंजीकृत कराया था। इसकी विवेचना तत्कालीन थाना अध्यक्ष सुधीर कुमार तोमर ने की थी।
अदालत में प्रभावी पैरवी
इस प्रकरण की प्रभावी पैरवी विशेष लोक अभियोजक गैंगस्टर कोर्ट दिनेश सिंह पुंडीर एवं राजेश कुमार शर्मा द्वारा की गई।
वाद की पैरवी में पैरोकार चरथावल कुलदीप कुमार तोमर का विशेष योगदान रहा।
गैंगस्टर कोर्ट के इस फैसले के बाद पीड़ित पक्ष एवं स्थानीय लोगों ने न्यायपालिका के निर्णय का स्वागत किया है।
