तेलुगु सिनेमा की अमर आवाज खामोश हुई: पहली प्लेबैक सिंगर राव बालासरस्वती देवी का 97 वर्ष की उम्र में निधन

Telugu First Playback Singer: दक्षिण भारतीय सिनेमा जगत में शोक की लहर दौड़ गई है। तेलुगु सिनेमा की पहली और प्रसिद्ध प्लेबैक सिंगर राव बालासरस्वती देवी का 97 वर्ष की उम्र में निधन हो गया। उन्होंने हैदराबाद स्थित अपने आवास पर अंतिम सांस ली। उनकी मृत्यु ने तेलुगु फिल्म उद्योग को गहरे दुःख में डाल दिया है, क्योंकि वे उस युग की प्रतिनिधि थीं जिसने सिनेमा में संगीत को नई पहचान दी।
बचपन से ही सुर-संगीत की अद्भुत साधक थीं बालासरस्वती

‘सती अनसूया’ और ‘भक्त ध्रुव’ से मिली शोहरत का सुनहरा दौर
1936 में निर्देशक सी. पुल्लैया की फिल्मों ‘सती अनसूया’ और ‘भक्त ध्रुव’ में उन्होंने अपनी आवाज़ दी। इन्हीं फिल्मों से राव बालासरस्वती देवी की गायिकी को पहचान मिली। मधुर और भावपूर्ण आवाज वाली बालासरस्वती ने न केवल तेलुगु फिल्मों में बल्कि तमिल सिनेमा में भी अपनी अदाकारी का जलवा दिखाया। उनके गीतों की गूंज उस दौर के संगीत प्रेमियों के दिलों में आज भी कायम है।
तेलुगु सिनेमा की पहली प्लेबैक सिंगर बनकर रचा इतिहास
1930 से लेकर 1960 के दशक तक राव बालासरस्वती देवी ने अभिनय और गायन दोनों में अपनी छाप छोड़ी। उन्हें तेलुगु सिनेमा की पहली प्लेबैक सिंगर के रूप में मान्यता मिली, जिसने साउथ इंडियन फिल्म इंडस्ट्री में महिला गायिकाओं के लिए एक नई राह खोली। उनके मधुर गीतों से न केवल फिल्मों की लोकप्रियता बढ़ी बल्कि उन्होंने सिनेमा के स्वर्णिम युग को आकार दिया।
परिवार संग बीता जीवन का अंतिम अध्याय
पति के निधन के बाद राव बालासरस्वती देवी सिकंदराबाद में अपने बेटे के साथ रहने लगीं। जीवन के अंतिम वर्षों में वे अपने पोते के साथ रहा करती थीं। भले ही उन्होंने मंच और माइक से दूरी बना ली थी, मगर उनका संगीत लोगों के दिलों में अब भी जीवंत है। तेलुगु सिनेमा में उनका योगदान सदा अमर रहेगा।