आदित्य हृदय स्रोत पाठ और अन्नदान से गूंजा शहर, अमावस्या पर आध्यात्मिक कार्यक्रमों की धूम

Amavasya 2025: आज अमावस्या के पावन अवसर पर एक ऐतिहासिक खगोलीय घटना घटित हुई। बहुत लंबे समय बाद ऐसा अवसर आया है जब मात्र 15 दिनों के भीतर ही चंद्र ग्रहण और सूर्य ग्रहण का संगम हो रहा है। धार्मिक दृष्टिकोण से यह संयोग अत्यंत महत्वपूर्ण माना जा रहा है और इसी वजह से आज के दिन अन्नदान, भजन और विशेष अनुष्ठानों का आयोजन किया गया।
रामायण से जुड़ी दिव्य परंपरा
दान और भंडारे की भव्यता
अमावस्या और ग्रहण के इस पावन संगम पर श्रद्धालुओं को दान और अन्न वितरण के लिए प्रेरित किया गया। धार्मिक आयोजनों के दौरान भंडारे का भी आयोजन हुआ जिसमें बड़ी संख्या में महिलाएँ और श्रद्धालु उपस्थित रहे। इस दौरान नेहा, संजना, शालिनी, ऋतु, चांदनी, श्वेता, प्रियंका, पलक, कविता, सोनिया, अमृता, प्रीति, पूजा, पूनम, नीता और शालू सहित अनेक महिलाएँ भंडारा वितरण में सक्रिय रूप से शामिल हुईं।
समाज में आध्यात्मिक जागरण
आयोजन समिति के सदस्यों का कहना है कि देश और समाज वर्तमान समय में अनेक विपत्तियों से गुजर रहा है। ऐसे में अनुष्ठान और दान के माध्यम से समाज में आध्यात्मिक जागरण लाना बेहद आवश्यक है। यह केवल धार्मिक परंपरा नहीं बल्कि मानवता की रक्षा और सकारात्मक ऊर्जा का संचार भी है।